Saturday, July 12, 2025
Homeछत्तीसगढ़इस दिन से मांगलिक कार्यों पर लग जाएगा विराम, जानें- अगले एक...

इस दिन से मांगलिक कार्यों पर लग जाएगा विराम, जानें- अगले एक महीने तक क्या करें, क्या न करें

14 मार्च को सूर्य मीन राशि में प्रवेश करेंगे। इस दौरान खरमास के साथ ही होलाष्टक लग जाएगा। 17 मार्च से होलाष्टक शुरू होगा। ऐसे में 13 अप्रैल तक मांगलिक कार्य नहीं होंगे।

तिल्दा-नेवरा,भगवान सूर्य के राशि परिवर्तन के साथ ही मांगलिक कार्यों पर भी विराम लग जाएगा। 14 मार्च को सूर्य मीन राशि में प्रवेश करेंगे और 13 अप्रैल तक विराजमान रहेंगे। इस दौरान महीने पर सभी मांगलिक कार्यों पर रोक रहेगी। इस अवधि में धार्मिक कार्य यानी पूजा-पाठ और हवन तो किए जा सकते हैं लेकिन किसी भी तरह के शुभ और मांगलिक कार्य नहीं किए जा सकते हैं।

पंचांगों के अनुसार भगवान सूर्य कुंभ राशि से निकलकर 14 मार्च को रात 12:24 बजे मीन राशि में प्रवेश करेंगे। इसके साथ ही खरमास की शुरुआत हो जाएगी। सूर्यदेव मीन राशि में 13 अप्रैल रात 9:03 बजे तक रहेंगे और इसके बाद वह मेष राशि में प्रवेश करेंगे और इसके साथ ही खरमास का समापन हो जाएगा। खरमास में शादी-विवाह, मुंडन, गृह प्रवेश के काम नहीं किए जा सकते हैं।

17 मार्च से होगी होलाष्टक की शुरुआत
पंचांग के अनुसार होलिका दहन से आठ दिन पहले होलाष्टक की शुरुआत हो जाती है। 17 मार्च से होलाष्टक शुरू हो रहा है और समापन 25 मार्च को होगा। फाल्गुन अष्टमी से होलिका दहन यानी आठ दिनों तक होलाष्टक के दौरान शुभ कार्य नहीं किए जाते हैं लेकिन देवी-देवताओं की आराधना के लिए श्रेष्ठ दिन होते हैं। इन आठ दिनों के मध्य विवाह संस्कार, मुंडन संस्कार, गृह प्रवेश, मकान, जमीन, वाहन क्रय और विक्रय आदि निषेध माने गए हैं।

साल में दो बार लगता है खरमास

काशी विद्वत कर्मकांड परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष आचार्य अशोक द्विवेदी ने बताया कि खरमास में सूर्य अपने गुरु गृह की सेवा में होते हैं। इसके कारण शुभ कार्यों पर सूर्य का प्रभाव कम हो जाता है। खरमास में विवाह, मुंडन समारोह और गृह प्रवेश पर रोक लग जाती है, जबकि देवताओं, माता पूजन, ब्राह्मणों और गायों की पूजा और सेवा आदि किए जा सकते हैं। साल में दो बार खरमास लगता है। एक बार सूर्य जब धनु राशि में प्रवेश करते हैं और दूसरा जब सूर्य मीन राशि में प्रवेश करते हैं।

इस पर रहेगी रोक
खरमास के दौरान शादी- विवाह, नया घर या व्यवसाय की शुरुआत, मुंडन, गृह प्रवेश, सगाई, बेटी या बहू की विदाई, गृह प्रवेश, मुंडन जैसे संस्कार पर रोक। खरमास में नए वाहन, घर, प्लॉट, रत्न-आभूषण आदि नहीं खरीदना चाहिए।

कर सकते हैं ये काम
दान, जप-तप, गुरु, गाय और साधु-संन्यासियों की सेवा, तीर्थ यात्रा, भगवान सूर्य को जल अर्पण।

RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Most Popular

Recent Comments